गीत संगीत से कई बीमारियों का होता हैं इलाज-
संगीत बहुत ही शक्तिशाली माध्यम हैं स्वस्थ रहने का। संगीत सुनने से काफी बीमारियां दूर रहती है और सकारात्मक संदेश पहुंचता है सभी लोगों तक। विज्ञान भी संगीत को बहुत महत्व देता है स्वस्थ रहने के लिए। संगीत से नकारात्मक विचार काफी दूर होते हैं। संगीत नकारात्मक दृष्टि को हटाकर सकारात्मक दृष्टि रखने का काफी अच्छा माध्यम है।आप लोग पूरा पोस्ट पढ़े और और सकारात्मक विचार सेेे सराबोर हो।
संगीत कला के सबसे खूबसूरत कृतियों में से एक है। जो हमें सकारात्मक उर्जा प्रदान करता है। और मानसिक तनाव सेे भी दूर रखता है।
संगीत और हमारा जीवन(music and our life)-
आजकल सब लोग अपने अपने कामों में व्यस्त रहते हैं जैसे कार्यालय का काम दफ्तर का काम घर का काम इन सबके बीच अपने लिए टाइम ही नहीं मिल पाता। इन सबके इन सबके बीच मनुष्य खुद के लिये समय नही निकाल पाता और तनाव ग्रस्त हो जाता हैं। ऐसे में उसे म्यूजिक सुनना बहुत लाभदायक होता है। काम का ज्यादा होना म्यूजिक के साथ काम करना बहुत ही सूटेबल माना गया हैं। म्यूजिक सुनने से हमारा शरीर स्वास्थ्य भी रहता है। और डिसीजन लेने में काफी भूमिका निभाता है म्यूजिक। अगर मनुष्य कोई उबाऊ काम कर रहा है,तो म्यूजिक के जरिये उसे मज़ेदार बना सकते हैं।
वैज्ञानिक उपकरणों का संगीत शिक्षा में प्रभाव-
संगीत एक कलात्मक विषय जिसके अंदर गायन,वादन,नृत्य तीनों कलाये आती हैं।शिक्षा सीखने एवं सिखाने की एक प्रक्रिया हैं'संगीत शिक्षा का अर्थ पुस्तक एवं गुरू हैं, जिससे कुछ सीखा जाए।
संगीत शिक्षा के इतिहास पर दृष्टि करे तो यह स्पष्ट होता हैं कि प्राचीन काल से मध्य काल तक संगीत शिक्षा गुरू – शिष्य को परम्परा द्वारा दी जाती थी।
19वी सदी में वैज्ञानिक क्षेत्र भी इससे अछूता नही रहा।वैज्ञानिक आविष्कारो में संगीत ने उथल-पुथल मचा दी हैं।आज के युग मे electronic technology की अत्याधुनिक ध्वनि तथा छाया उपकरण संगीत की अपार सहायता की। अब गायन या वादन में वैज्ञानिक दृष्टिकोण इतना बढ़ गया है कि हम किसी भी दूर की चीज को घर बै ठे देख तथा सुन सकते हैं। वैज्ञानिक के क्षेत्र में म्यूजिक बहुत ही लाभदायक है। अब तो तकनीकी के माध्यम से लहरा,तबला स्वेपेटी,तानपुराआदि उपकरण का उपयोग सहज एव सरल हो गया हैं।
इसलिए जरूरी होता हैं संगीत.....
जिस तरह स्वस्थ रहने के लिए पौष्टिक खाने की जरूरत होती हैं उसी तरह हमारे दिमाग को तनाव से दूर रखने के लिये संगीत की जरूरत होती हैं।संगीत का असर शरीर और मन दोनों पर पड़ता हैं।अगर आप कोई ऐसा काम कर रहे हैं जो आपका बिल्कुल भी करने का मन नहीं हैं आप कोई अच्छा सा गाना लगा लीजिए उसके बाद आप जो भी कार्य कर रहे हैं कब पूरा खत्म हो जयेगा आपको पता भी नही चलेगा।रोज-रोज संगीत सुबह शाम सुनने से उच्च-रक्तचाप का लेवल सुधरता हैं।धीमी गति से संगीत सुनने से स्ट्रोक की समस्या खत्म होती हैं।
संगीत से मानसिक व शारीरिक दर्द होता है कम-
अगर आपको शारिरिक या मानसिक कोई भी समस्या है तो थोड़ी देर संगीत सुनने से बहुत लाभ मिलता हैं।मानसिक स्थिति में संगीत जादू से कम नहीं।एक अध्ययन में पाया गया कि अगर आपको दर्द हो रहा है उसी बीच आप कही संगीत सुनने लगे तो आपका दर्द पहले से कम हो जयेगा।किसी बच्चे को इंजेक्शन लग रहा हैं और आप म्यूजिक ऑन कर देते हैं तो रोना बन्द कर देता हैं। ऐसा होता है म्यूजिक का असर।
संगीत से बढ़ती हैं याददाश्त......
अगर हम अपने पसंद का कोई संगीत सुनते हैं धीमे गति से तो तो उस टाइम का पढ़ा याद रहता हैं।पसन्दीदा म्यूजिक सुन ने से स्ट्रोक का खतरा कम रहता हैं,और एकाग्रता आती हैं।
संगीत से अच्छी नींद भी आती हैं-
अगर आपको अच्छी नींद नही आ रही तो अपने पसंद की म्यूजिक सुनिए सोने के समय धीमी गति से इससे आपको बहुत अच्छी और गहरी नींद आएगी।लेकिन याद रहे सोने के 30-35 min पहले वो भी शास्त्रीय म्यूजिक सुने अगर आप रॉक म्यूजिक सुनते हैं तो परिणाम उल्टा भी हो सकता हैं।शास्त्रीय संगीत आपको अच्छे परिणाम देते है औऱ आपके नींद में जो बाधक हैं उन्हें खत्म करते हैं जैसे चिंता,विकार।
संगीत सुनते समय ज़्यादा खा या भी नही जाता जिससे डाइट भी सही रहती हैं-
अगर आप सान्ग सुनते खाना खा रहे हैं तो आप बहुत ज़्यादा नही खा पाएंगे।जिससे आपकी डाइटिंग एकदम सही रहेगी।
पीठ दर्दभी कम करता हैं संगीत....
ऐसा माना जाता हैं कि संगीत सुनने से दर्द में आराम मिलता हैं।धीमा गति से संगीत सुनने से दिल की धड़कन और उच्च -रक्तचाप भी धीमी हो जाती हैं।जिससे आराम और बेहतर महसूस करते हैं।एक स्टडी के अनुसार बैक सर्ज़री के बाद म्यूजिक थेरेपी देने से बैकपेन में बहुत राहत मिली।
तो दोस्तो आप भी म्यूजिक के जरिये खुश और स्वस्थ रह सकते हैं।
धन्यवाद।।
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